चंडीगढ : हरियाणा सरकार का बड़ा फैसला – MSME उद्योगों को मजबूत करेगी

चंडीगढ : October. 17. 2020।। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल की अध्यक्षता में हुई राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में राज्य में सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग के विकास एवं गठन के लिए नए एमएसएमई निदेशालय बनाने की स्वीकृति प्रदान की गई है। बैठक में उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के कार्य को एमएसएमई निदेशालय, उद्योग एवं वाणिज्य निदेशालय एवं आपूर्ति एवं निपटान निदेशालय के बीच वितरित करने के लिए एक विज्ञापन को भी स्वीकृति प्रदान की गई है।

एमएसएमई निदेशालय राज्य में खादी एवं ग्रामोद्योग, कुटीर उद्योग, हस्तशिल्प, हथकरघा, पावरलूम आदि सहित एमएसएमई के समग्र विकास के लिए नीतियों की योजना बनाएं और उन्हें विश्व स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाने के लिए जिम्मेदार होगा। यह निदेशालय एमएसएमई विकास अधिनियम 2006 पंजाब खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड अधिनियम, 1995 और पंजाब राज्य उद्योग को सहायता अधिनियम, 1955 के माध्यम से एमएसएमई को साख, सामान्य सुविधाएं, टूल रूम इत्यादि के लिए मदद करेगा। यह आबकारी एवं कराधान विभाग की बजाय ट्रेडर्स वेलफेयर बोर्ड के कार्य का प्रबंधन भी करेगा। यह एमएसएमई को विभिन्न राजकोषीय एवं गैर राजकोषीय प्रोत्साहन, बुनियादी ढांचा समर्थन एवं तकनीकी सहायता भी प्रदान करेगा ताकि वह स्थानीय और वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा कर सकें ।

विशेष रूप से देश एवं सकल घरेलू उत्पादन, आर्थिक विकास और बड़ी संख्या में नौकरियों के सृजन की क्षमता के कारण सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग क्षेत्र को देश भर में विकास स्तंभ के रूप में स्वीकार किया जाता है। हरियाणा ने पिछले कुछ वर्षों में राज्य में समग्र एमएसएमई पारिस्थितिकी तंत्र के विकास के लिए कई कदम उठाए हैं। इस के मद्देनजर राज्य में एमएसएमई को मजबूत करने के लिए उद्योग एवं वाणिज्य विभाग में एक अलग निदेशालय गठित किया जाएगा ताकि एमएसएमई के विकास पर ध्यान केंद्रित किया जा सके।

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